स्टैच्यू ऑफ यूनिटी: दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा 🗿
भारत हमेशा से अपनी सांस्कृतिक विरासत, ऐतिहासिक धरोहर और अद्भुत स्थापत्य कला के लिए प्रसिद्ध रहा है। इसी कड़ी में एक नया नाम जुड़ा – “स्टैच्यू ऑफ यूनिटी”, जो न केवल भारत बल्कि पूरे विश्व में अपनी ऊंचाई और भव्यता के लिए जानी जाती है।
क्या है स्टैच्यू ऑफ यूनिटी?
स्टैच्यू ऑफ यूनिटी, भारत के पहले उपप्रधानमंत्री और “लौह पुरुष” कहे जाने वाले सरदार वल्लभभाई पटेल की एक विशाल प्रतिमा है। यह प्रतिमा गुजरात के नर्मदा जिले में सरदार सरोवर बांध के पास स्थित है और यह दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा होने का गौरव रखती है। इसकी ऊंचाई 182 मीटर (597 फीट) है, जो अमेरिका की स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी (93 मीटर) से भी दोगुनी ऊंची है।
स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के अनोखे तथ्य
- रिकॉर्ड तोड़ ऊंचाई – यह प्रतिमा चीन की स्प्रिंग टेंपल बुद्ध (153 मीटर) से भी ऊंची है, जो पहले दुनिया की सबसे ऊंची मूर्ति थी।
- तेजी से बना निर्माण – इस विशाल संरचना को मात्र 46 महीनों में तैयार किया गया।
- भारतीय इंजीनियरिंग का चमत्कार – इसे लार्सन एंड टूब्रो (L&T) कंपनी ने डिजाइन किया, और इसका कुल बजट लगभग 2,989 करोड़ रुपये था।
- भूकंपरोधी डिजाइन – प्रतिमा 6.5 तीव्रता के भूकंप और 180 किमी/घंटा की हवा को सहन कर सकती है।
- सैलानियों के लिए आकर्षण – इसमें एक व्यूपॉइंट गैलरी है, जो 135 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है और यहां से सरदार सरोवर बांध और आसपास की घाटियों का शानदार नज़ारा देखा जा सकता है।
पर्यटन और महत्व
स्टैच्यू ऑफ यूनिटी न केवल एक पर्यटन स्थल है बल्कि यह राष्ट्रीय एकता का प्रतीक भी है। यह प्रतिमा देशवासियों को सरदार पटेल के अद्वितीय योगदान की याद दिलाती है, जिन्होंने भारत के एकीकरण में अहम भूमिका निभाई थी।
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